Unique Disability Card: दिव्यांगता प्रमाणपत्र प्राप्त करने की प्रक्रिया और मापदंड;स्थान और तरीका |

Unique Disability Card: दिव्यांगता प्रमाणपत्र प्राप्त करने की प्रक्रिया और मापदंड;स्थान और तरीका |

Unique Disability Card: दिव्यांगता प्रमाणपत्र प्राप्त करने की प्रक्रिया और मापदंड

Unique Disability Card: दिव्यांगता प्रमाणपत्र;सरकारी सुविधाओं के लिए आवश्यक मापदंड और निर्माण प्रक्रिया का विवरण |

Unique Disability Card: दिव्यांगता प्रमाणपत्र प्राप्त करने की प्रक्रिया और मापदंड
Unique Disability Card: दिव्यांगता प्रमाणपत्र प्राप्त करने की प्रक्रिया और मापदंड

भारत में कोई भी व्यक्ति यदि दिव्यांग होता है, तो उसकी दिव्यांगता के प्रमाण के लिए सरकार द्वारा Unique Disability Card (विकलांगता प्रमाण पत्र) जारी किया जाता है। यह प्रमाण पत्र इसलिए महत्वपूर्ण है क्योंकि इसके आधार पर दिव्यांगजनों को सरकार द्वारा अनेक सुविधाएं और सहूलियतें प्रदान की जाती हैं। चाहे वह केंद्र सरकार हो या राज्यों की सरकारें, दोनों ही दिव्यांग नागरिकों को विभिन्न प्रकार की सेवाओं और सुविधाओं में छूट देती हैं।

सरकारी योजनाओं का लाभ उठाने या सरकारी नौकरियों में आरक्षण प्राप्त करने के लिए Unique Disability Card का होना अनिवार्य है। बिना इस प्रमाण पत्र के, दिव्यांगजन कई महत्वपूर्ण सुविधाओं और अवसरों से वंचित रह सकते हैं। भारत में Unique Disability Card प्राप्त करने के लिए कुछ निर्धारित मापदंड होते हैं जिन्हें पूरा करना होता है। इसके लिए संबंधित व्यक्ति को मेडिकल बोर्ड से अपनी जांच करवानी होती है।

Unique Disability Card बनाने की प्रक्रिया विभिन्न सरकारी अस्पतालों और स्वास्थ्य केंद्रों में पूरी की जा सकती है। इसके लिए संबंधित व्यक्ति को अपने नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र में जाकर आवश्यक दस्तावेज और आवेदन पत्र जमा करना होता है। इसके बाद मेडिकल बोर्ड द्वारा जांच की जाती है और मापदंडों के आधार पर प्रमाण पत्र जारी किया जाता है।

40 प्रतिशत या उससे ज्यादा वालों को मिलता है लाभ

निःशक्त व्यक्ति (समान अवसर, अधिकारों का संरक्षण और पूर्ण भागीदारी) अधिनियम, 1995 की धारा 2 के तहत, किसी भी दिव्यांग व्यक्ति को तब ही दिव्यांग माना जाएगा जब उसे मेडिकल बोर्ड द्वारा 40% या उससे अधिक की निशक्तता दर्ज की जाती है। इसका मतलब यह है कि यदि कोई व्यक्ति अस्पताल जाकर अपनी दिव्यंगता की जांच करवाता है और वहां के मेडिकल बोर्ड या डॉक्टर उसे 40% से कम निशक्तता घोषित करते हैं, तो वह व्यक्ति दिव्यांग के रूप में मान्यता प्राप्त नहीं करेगा।

Unique Disability Card: दिव्यांगता प्रमाणपत्र प्राप्त करने की प्रक्रिया और मापदंड
Unique Disability Card: दिव्यांगता प्रमाणपत्र प्राप्त करने की प्रक्रिया और मापदंड

इस स्थिति में, उसे दिव्यांगजनों के लिए उपलब्ध सुविधाएं और सेवाएं नहीं मिल पाएंगी, और न ही किसी प्रकार की छूट या विशेष लाभ प्राप्त होंगे। Unique Disability Card प्राप्त करने के लिए इस न्यूनतम 40% निशक्तता की शर्त को पूरा करना आवश्यक है, ताकि व्यक्ति को सरकारी योजनाओं और अवसरों का लाभ मिल सके। यह प्रावधान सुनिश्चित करता है कि केवल उन व्यक्तियों को ही दिव्यांगता की सुविधा मिले जो वास्तविक रूप से इस श्रेणी में आते हैं।

मेडिकल बोर्ड जारी करता है दिव्‍यांगता सर्टिफिकेट

अगर कोई व्यक्ति Unique Disability Card बनवाना चाहता है, तो उसे अपने जिले के सरकारी अस्पताल या उस अस्पताल से संपर्क करना चाहिए जहां उसने दिव्यांगता का इलाज करवाया हो। इसके बाद, व्यक्ति को एक मेडिकल बोर्ड के सामने पेश होना होगा। इस बोर्ड में कई डॉक्टर और अधिकारी शामिल हो सकते हैं।

मेडिकल बोर्ड दिव्यांगता की गंभीरता और स्थायीता की जांच करता है। वे विभिन्न परीक्षण और मूल्यांकन के माध्यम से यह तय करते हैं कि व्यक्ति की दिव्यांगता कितनी गंभीर है और क्या यह स्थायी है। जांच के पूरा होने के बाद, मेडिकल बोर्ड व्यक्ति के स्वास्थ्य और दिव्यांगता की स्थिति का पूरी तरह से मूल्यांकन करता है और इसके आधार पर Unique Disability Card जारी करता है।

इस प्रक्रिया के दौरान, व्यक्ति को विभिन्न दस्तावेज और रिपोर्टें प्रस्तुत करनी होती हैं जो उनकी स्वास्थ्य स्थिति को प्रमाणित करती हैं। सही प्रक्रिया और आवश्यक दस्तावेजों के साथ, व्यक्ति आसानी से Unique Disability Card प्राप्त कर सकता है, जो उसे सरकारी सुविधाओं और अन्य लाभों का उपयोग करने में सक्षम बनाता है।

दिव्‍यांगता सर्टिफिकेट के आधार पर बनवाएं UDID

अगर किसी दिव्यांग व्यक्ति को मेडिकल बोर्ड द्वारा Unique Disability Card जारी कर दिया जाता है, तो वह इसके आधार पर अपनी यूनिक डिसेबिलिटी आईडी बनवा सकता है। यह कार्ड सरकारी सुविधाओं और छूटों का लाभ आसानी से प्राप्त करने में सहायक होता है। यूनिक डिसेबिलिटी आईडी प्राप्त करने के लिए, व्यक्ति को आधिकारिक वेबसाइट swavlambancard.gov.in पर जाकर ऑनलाइन आवेदन करना होता है।

Unique Disability Card: दिव्यांगता प्रमाणपत्र प्राप्त करने की प्रक्रिया और मापदंड
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वेबसाइट पर जाकर, आवश्यक जानकारी जैसे कि Unique Disability Card, पहचान पत्र, पते का प्रमाण आदि दर्ज करना होता है। इसके बाद, संबंधित दस्तावेज़ों की स्कैन की गई प्रतियां भी अपलोड करनी होती हैं। ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया पूरी करने के बाद, व्यक्ति को अपना कार्ड प्राप्त हो जाता है। इस कार्ड के माध्यम से दिव्यांगजन विभिन्न सरकारी योजनाओं और सेवाओं का लाभ उठा सकते हैं, जैसे कि विशेष छूट, सरकारी नौकरी में आरक्षण, और अन्य लाभ। सही जानकारी और आवश्यक दस्तावेजों के साथ आवेदन करके, दिव्यांग व्यक्ति अपने अधिकारों और सुविधाओं का आसानी से उपयोग कर सकते हैं।

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